ठंड शुरू होते ही प्रवासी पक्षी पहुंचने लगे गिधवा-परसदा पक्षी विहार….हिमालय पार से पहुंचे बार हेडेड गूस,विभिन्न प्रजाति के डक भी पहुंचे अपनी सर्दियां गुजारने


राजू वर्मा,सीजी मितान डेस्क…..छत्तीसगढ़ के सुरक्षित वातावरण और वेटलैंड में भोजन की प्रचूरता प्रवासी पक्षियों को खूब भाता है। लिहाजा ठंड शुरू होते ही इन प्रवासी पक्षियों का यहां पहुंचना शुरु हो गया है।
बेमेतरा जिले के गिधवा परसदा पक्षी विहार में इन दिनों प्रवासी पक्षियों का जमवाड़ा शुरू हो चुका है।

हिमालय पार से बार हेडेड गूस के साथ नार्दन पेंटेल, गढ़वाल, गारगने, कामन टिल, सुर्खाब, टफ्टेड डक, सायबेरियन स्टोन चेट,कॉमन पोचार्ड,रेड क्रेस्टेड पोचार्ड,फोरगुनियस डक,नॉर्थर्न सोलेवेर सहित अन्य प्रजाति की प्रवासी पक्षियों का झुंड यहां पहुंच चुका है।
स्थानीय निवासी और पक्षी मित्र जयंत जयसवाल और हरीश वर्मा ने बताया कि 2021 में हुए पक्षी महोत्सव के बाद से क्षेत्र में पक्षियों के प्रति जागरूकता बढ़ी है लगातार पक्षी प्रेमियों और फोटोग्राफरों का यहाँ आना लगा रहता है।

बता दें कि गिधवा परसदा के बांध में प्रवासी पक्षियों का आगमन नवम्बर में ही हो जाता है,यहाँ की आद्र भूमि और यहां का खाना प्रवासी पक्षियों को अपनी ओर आकर्षित करता है।

यहां स्थानीय पक्षी लेसर विस्लिंग डक इंडियन करमोरेंट ब्लैक हेडेड आइबिस ओपेन बिल स्टोर्क बड़ी संख्या में हैं। वही सेन्ट्रल एशियन इंडियन फ्लाईवे से प्रवास करने वाले चीन मंगोलिया यूरोप रसिया सहित अन्य देशों से आने वाले प्रवासी पक्षियों की कई प्रजाति गिधवा परसदा में अपनी सर्दियां बिताने आती है ,यहाँ आने वाली कुछ प्रजाति वैश्विक स्तर पर खतरे में हैं ।इन बर्ड का यहाँ आना हमारी जमीन के लिए महत्वपूर्ण है,और ये दर्शाता है कि हमारी जमीन और खाना बहुत संतुलित है।

फोटो – जयंत जायसवाल द्वारा