दिल्ली । हवा की दिशा बदलने से दिल्ली में प्रदूषण के स्तर में लगातार तीसरे दिन भी सुधार देखने को मिला है। लेकिन, फिर भी यह देश का दूसरा सबसे प्रदूषित शहर है। पहले स्थान पर हरियाणा का धारूहेड़ा रहा, जहां एक्यूआई 345 दर्ज किया गया। वहीं, दूसरे स्थान पर दिल्ली, तीसरे स्थान पर बिहार का छपरा और चौथे स्थान पर हरियाणा का बल्लभगढ़ रहा, जहां दिल्ली का एक्यूआई 339 रहा, वहीं छपरा का 330 और बल्लभगढ़ का 330 अंक पर रहा।राजधानी में गुरुवार को जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक 454 था वहीं शुक्रवार को यह 447, शनिवार को 385 और रविवार को 339 दर्ज किया गया। दिल्ली में रविवार को पश्चिम एवं दक्षिण पूर्व दिशा से हवा बहने के चलते पराली का धुआं ज्यादा नहीं आ पाया। इसके अलावा ग्रैप के चौथे चरण को सख्ती के साथ लागू किया जा रहा था। इसके चलते दिल्ली में एक्यूआई में कमी आई है।यह बताया कारण सफर के अनुसार, रविवार को सतही स्तर पर हवा 8 से 12 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से चल रही थी। इसके चलते प्रदूषण के बारीक कणों का तेजी से बिखराव हो रहा था। वहीं, ऊपरी सतह पर हवा 700 से 1000 मीटर की ऊंचाई पर होने के चलते पराली के धुएं को सहयोग नहीं मिल रहा। इस वजह से भी प्रदूषण में कमी देखने को मिल रही है। सफर के अनुसार बीते 24 घंटे में पराली जलाने के 3100 मामले सामने आए हैं, जो काफी ज्यादा हैं।राजधानी में रविवार को पराली जलने से प्रदूषण में 18 फीसदी हिस्सेदारी दर्ज की गई है। प्रदूषण में शनिवार को पराली जलने की हिस्सेदारी 21 फीसदी थी। सूत्रों का कहना है कि अगर राजधानी में उत्तर-पश्चिम दिशा से हवा बहने लगी तो प्रदूषण का स्तर एक बार फिर गंभीर श्रेणी में जा सकता है। प्रदूषण में रविवार को बारिक कणों की हिस्सेदारी 61 फीसदी रही।रविवार को दिल्ली के कुछ इलाकों में प्रदूषण का स्तर खराब श्रेणी में रहा। ये इलाके डीटीयू, दिलशाद गार्डन, पंजाबी बाग और लोधी रोड हैं। सफर के अनुसार आगामी तीन दिनों में प्रदूषण का स्तर बेहद खराब श्रेणी या खराब श्रेणी के ऊपरी हिस्से में ही बना रहेगा। सात और 8 नवंबर को निचली सतह पर हवा चलने की वजह से प्रदूषण में कुछ कमी आएगी। इससे वायु गुणवत्ता सूचकांक में और कमी आ सकती है। अगले दो दिनों तक हवा की दिशा बदले रहने के चलते पराली का प्रदूषण दिल्ली में ज्यादा नहीं आने की संभावना है।राष्ट्रीय राजधानी में रविवार को वायु गुणवत्ता बेहद खराब श्रेणी में दर्ज की गई, जबकि न्यूनतम तापमान 17.5 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से तीन डिग्री अधिक है। भारत मौसम विज्ञान विभाग ने कहा कि सुबह साढ़े आठ बजे सापेक्षिक आर्द्रता 91 प्रतिशत थी। आईएमडी ने आंशिक रूप से बादल छाए रहने का अनुमान जताया है। राष्ट्रीय राजधानी में शनिवार को अधिकतम तापमान 30.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था, जबकि न्यूनतम तापमान मौसम के औसत तापमान से तीन डिग्री कम यानी 17.4 डिग्री सेल्सियस रहा था।ओपीडी में सांस के मरीज 25 फीसदी बढ़े
दिल्ली में प्रदूषण का असर अब दिखाई देने लगा है। कई अस्पतालों की ओपीडी में सांस के मरीज 25 फीसदी तक बढ़ गए हैं। महारानी बाग इलाके में रहने वाले 55 वर्षीय चंद्रवीर सिंह ने बताया कि दिवाली के बाद से खांसी हो रही है। ठीक नहीं होने पर एम्स गए थे। वहां कहा गया कि प्रदूषण की वजह से ऐसा हो रहा है। डॉक्टर ने सलाह दी कि अगर कुछ दिन के लिए साफ हवा वाले इलाके में जा सकते हैं तो चले जाएं। वहीं एक निजी कंपनी में काम करने वाली चांदनी ने बताया कि प्रदूषण की वजह से उन्हें लगातार नाक बहने और सिर में दर्द के लक्षण दिख रहे थे।
