सावन के पहले सोमवार को भक्तों ने किया अभिषेक,हर-हर महादेव के जयकारों से गूंज उठे शिवालय जलाभिषेक के लिए शिव मंदिरों में जुटी भारी भीड़

रिपोर्टर, चंद्रभान यादव

जशपुर। सावन के पहले सोमवार पर शिवालयों में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ देखी गई। जिले के प्रमुख शिवालय कैलाश नाथेश्वर गुफा में बड़ी संख्या में श्रद्धालु कांवर लेकर पहुंचे थे। इसके अलावा पत्थलगांव के किलकिलेश्वर धाम, कोतेबिरा शिवालय, चरईडांड़ शिव मंदिर, लोरो शिव धाम, भितघरा सोमेश्वर महादेव, जशपुर शहर में पक्कीडांड़ी शिव मंदिर, बेलमहादेव, महाकाल मंदिर और बरटोली शिव मंदिर में भी भक्तों की भारी भीड़ रही। शिवालयों के पट सुबह 5 बजे से ही खुल गए थे। सूर्योदय के साथ ही जलाभिषेक के लिए शिवमंदिरों में भक्तों का आना शुरू हो गया। दोपहर तक शिव मंदिरों में भक्तों का तांता लगा रहा। लोगों ने दूध व पवित्र जल के साथ ही विभिन्न अभिषेक द्रव्यों से भगवान शिव का अभिषेक किया।

शहर के पक्कीडांड़ी के पास स्थित शिवमंदिर में भी बड़ी संख्या में पहुंचकर भक्तों ने भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक किया। शहर के शिवभक्तों ने वृक्षगंगा पक्कीडांड़ी से जल उठाया और भगवान भोलेनाथ का इस जल से अभिषेक किया गया। शहर के पश्चिम पर्वत स्थित बेलमहादेव में भी सैकड़ों की संख्या में भक्तगढ़ भगवान भोलेनाथ की पूजा के लिए पहुंचे। यह शिवमंदिर पर्वत की चोटी में बना है। यहां तक पहुंचने के लिए पहाड़ में सीढ़ियां बनाई गई है। करीब 4 सौ से अधिक सीढ़ियां चढ़कर भक्तगढ़ इस मंदिर तक पहुंचे। इसी तरह जशपुर की पक्कीडांड़ी से जल उठाकर श्रद्धालुओं ने लोरो घाटी में स्थित शिव मंदिर के लिए कांवर यात्रा निकाली। भितघरा के सोमेश्वर महादेव में भी कांवरियों का जत्था पहुंचा।

मंदिरों में सुरक्षा के किए गए थे पुख्ता इंतजाम शिवालयों में पुलिस प्रशासन ने पुख्ता के पुख्ता बंदोबस्त कर रखे थे। सभी शिवमंदिरों के पास पुलिस जवानों को तैनात किया गया था। जंगली क्षेत्र में स्थित कैलाश नाथेश्वर गुफा, राजपूरी जलप्रपात, बेलमहादेव, किलकिलेश्वर धाम में पुलिस बल के साथ अन्य सुरक्षाबलों की भी तैनाती की गई थी।

बैजनाथ धाम के लिए भी निकलने शुरू हुए लोग शहर के कांवरियों का दल बैजनाथ धाम की यात्रा पर भी निकल चुका है। पहले सावन सोमवार के लिए कई दल पहले ही वहां के लिए प्रस्थान कर गए थे। बैजनाथ धाम में सावन के किसी भी दिन जाकर जलाभिषेक करना अत्यंत शुभ व मनोकामनओं को पूरा करने वाला माना गया है। इसलिए रोजाना ही शिवभक्तों का टोला वहां के लिए रवाना हो रहा है।