कही भारी न पड़ जाए महाराष्ट्र से डोंगरगढ़ आ रहे दर्शनार्थी, कोरोना प्रोटोकॉल की उड़ रही धज्जियाँ, रोजाना मंदिर दर्शन के लिए बसों और ट्रको में भर भर कर महाराष्ट्र से आ रहे है सैकड़ो लोग

केशव साहू/ 9302435161

डोंगरगढ़– जहाँ एक तरफ देश प्रदेश में कोरोना का ग्राफ बहुत ही तेजी से बढ़ते जा रहा है। कुछ प्रदेशों में नाईट कर्फ़्यू लगाकर कोरोना के बढ़ते कदम को रोकने का प्रयास किया जा रहा है। स्कूल कॉलेज को दोबारा बंद करने की आवश्यकता पड़ गया है। व्यवसाय प्रतिष्ठान को खोलने बंद करने का समय बदला जा रहा है। बड़े बड़े आयोजन जैसे कि राजनीति, धार्मिक, सामाजिक, संस्कृतिक, खेलकूद आदि आयोजनों पर रोक लग रही है।जिला स्तर पर कोरोना प्रोटोकॉल बनाये जा रहे है। जगह जगह मास्क जांच की जा रही है।

कोरोना संक्रमण से सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए इसके नियंत्रण के लिए नगरपालिका क्षेत्र में बिना मास्क के घूमने वालों पर कार्रवाई की जा रही है।

लेकिन बता दे की पड़ोसी राज्य महाराष्ट्र में कोरोना के सबसे ज्यादा मामले आ रहे है जिस कारण बार्डर पर सघन कोरोना जांच किया जाना है। इस हेतु बीते 6 जनवरी को अपर कलेक्टर द्वारा बैठक ली गई थी। जिसमे डोंगरगढ़ विकासखंड में 65 जंबो सिलेंडर तथा 55 ऑक्सीजन कंसंंट्रेटर उपलब्ध होने की बात कही गई है। अच्छी बात है पर पिछले साल कितनी भी सुविधा रहा आखिर काम नही आया, कमी ही रहा। इन सब से भलीभांति परिचित माँ बम्लेश्वरी मंदिर ट्रस्ट इस बात को भूल रही है। धर्मनगरी डोंगरगढ़ में हजारों की संख्या में लोग बसों और ट्रको में भरकर बिना कोरोना जांच करवाएं आ रहे है।

अब इसे प्रशासन की घोर लापरवाही समझे या सिर्फ जांच करने का दिखावा किया जा रहा है।

अगर शासन प्रशासन इस ओर अगर ध्यान नही दिया तो राजनांदगांव जिले में कोरोना के मामले बढ़ सकते है जिसे सँभलना मुश्किल भी हो सकता है।