मौर्यधवज सेन
नगरी/सिहावा, बेलरगांव।गणेश चतुर्थी का पर्व चल रहा है।और पुरा देश बड़े ही उत्साह और धूमधाम से गणेशोत्सव मना रहा है।वहीं छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में 200 वर्ष पुरानी एक प्रसिद्ध प्राचीन स्वयंभू गणेश मंदिर है।जो जिला मुख्यालय से तकरीबन 90 किलोमीटर की दूरी पर गढ़डोंगरी गाँव में स्थित है।जहाँ 11 दिनों तक विशेष रूप से भगवान गणपति का पूजा अर्चना यहाँ के पुजारी और समिति के लोगों द्वारा की जाती है।वहीं इस मंदिर में 11 दिनों श्रद्धालुओं द्वारा मनोकामना ज्योति प्रज्जवलित भी की जाती है।मान्यता है कि यहाँ कोई भी निःसंतान दंपत्ति यहाँ संतान प्राप्ति की मनोकामना लेकर पहुंचते है।भगवान गणेश उनकी मुरादें अवश्य ही पुरा करते है।बताते है कि पहले भगवान गणेश की प्रतिमा का प्रतिमा का आकार छोटा था जो अब बढ़ने लगा है।वहीं मंदिर परिसर में आम के पेड़ पर सर्प और मेढ़क का भी वास होता है।साथ ही रोजाना शाम आरती के वक्त यहाँ भालू का भी आगमन होता है।जो यहाँ पहुँचकर घंटी बजाकर भगवान गणेश का दर्शन करता है।और फिर प्रसाद लेकर वापस लौट जाता है।बताते है कि यहाँ देवी देवताओं का गढ़ है इसलिये इस गाँव का नाम गढ़डोंगरी पड़ा जहाँ भगवान स्वयंभू गणेश के अलावा माँ दुर्गा,शिव जी,पार्वती,और श्री कृष्ण राधा जी का प्रतिमा स्थापित है जिसके दर्शन के लिये रोजाना अंचल सहित दूर – दूर से लोग यहाँ पहुंचते है।

- September 21, 2023