बसंत पंचमी के अवसर पर नेहरू महाविद्यालय में अधिकारी-कर्मचारियों ने की मां सरस्वती की पूजा-अर्चना

केशव साहू डोंगरगढ़ की रिपोर्ट

डोंगरगढ़ । शासकीय नेहरू महाविद्यालय डोंगरगढ़ में प्रभारी प्राचार्य डॉ. प्रदीप कुमार जाम्बुलकर के दिशा-निर्देशन में बसंत पंचमी के अवसर महाविद्यालय के समस्त अधिकारियों कर्मचारियों ने सामूहिक रूप से मां सरस्वती की पूजा अर्चना की। इस अवसर पर प्रभारी प्राचार्य डॉ. प्रदीप जाम्बुलकर ने उपस्थित अधिकारियों-कर्मचारियों बसंत पंचमी की शुभकामनाएं देते हुए बसंत पंचमी की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि माघ के महीने की पंचमी को वसंत पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। मौसम का सुहाना होना इस मौके को और रूमानी बना देता है। वसंत पंचमी को श्री पंचमी तथा ज्ञान पंचमी भी कहते हैं। वसंत ऋतु को प्रेम की ही ऋतु माना जाता रहा है। इसमें फूलों के बाणों से आहत हृदय प्रेम से सराबोर हो जाता है। इस मौसम में तापमान न अधिक ठंडा न ही अधिक गर्म होता है। चारों ओर सुंदर दृश्य सुगंधित पुष्प ए मंद-मंद मलय पवन ए फलों के वृक्षों पर बौर की सुगंध ए जल से भरे सरोवर आम के वृक्षों पर कोयल की कूक ये सब प्रीत में उत्साह भर देते हैं। इस अवसर पर महाविद्यालय के प्राध्यापकगण डॉ. ई.व्ही. रेवती, डॉ. आशा चौधरी, नितेश तिरपुडे़, बी.आर. सिवारे, डॉ.मेधाविनी तुरे, डॉ. नौशिन अजुम, सुश्री ऋचा अग्रवाल, श्रीमती ज्योति साहू, कु. प्रतिभा सिंह, कु. महिमा जोगनपुत्रा, कु. मनीषा भेड़िया, कु. प्रिया ठाकुर, रोशन साहू, विक्रम देवांगन, शिवेन्द्र साहू, एवलाल मेश्राम सहित कर्मचारीगण जेके देवंागन, सोहद्रा उइके, संजय तिवारी, केजी सोनकर, बीआर कोसले, बीएस मंडावी, विवेक श्रीवास, संदीप गजभिये, शरद लाटा, सुशील सोनवानी, शैलेन्द्र यादव, चित्रा खोब्रागढ़े, जेआर साहू, विनोद सहारे उपस्थित रहे।