डोंगरगांव। शहर में लगातार भ्रष्टाचार की मुद्दों को उठाती रही है। जनताओ कि समस्या को शासन प्रशासन तक पहुँचाने के लिए लगातार अखबारों में प्रयासरत हैं। लंबे समय से डोंगरगांव नगर पानी की समस्या से जूझ रहा है। साथ ही नगर में गंदे पानी का सप्लाई पिछले 15 दिन से हो रहा है जो पीने के लायक नही है और न ही गुणवत्तापूर्ण है। इसकी सूचना एवं शिकायत नगर पंचायत के अधिकारी cmo भूपेश सिंह एवं अनुविभागीय अधिकारी सुनील नायक को दी गयी थी। आज 15 दिन बाद भी नगर में पेयजल की समस्या जस की तस बनी हुई है। लेकिन न तो किसी जिम्मेदार अधिकारी के कान में जु रेंगी न कोई हलचल हुआ। आज नगर पंचायत के कर्मचारी , पार्षद, अध्यक्ष और CMO गहरी नींद में है। नगर में समस्याओं का अंबार लगा हुआ है। सिर्फ सड़क बना ही समस्यों का समाधान नही है। यहाँ मूलभूत सुविधाओं से लोग वंचित हो रहे हैं। लगातार शिकायतों के बाद भी नगर पंचायत का रवैया नही सुधर पाया है।

सर में मटकी लेकर नगर पंचायत पहुँचे महिलाएं
नगर के वार्डो की महिलाएं नगर पंचायत के विरोध प्रदर्शन स्वरूप अपने सर पर मटकी लेकर नगर पंचायत पहुँची एवं नगर पंचायत परिसर में ही मटकी फोड़ कर विरोध जताया । बड़ी संख्या में करिया टोला वार्ड एवं मटिया वार्ड से लोग पहुँचे थे। इतने विरोध के बावजूद नगर की समस्या बनी हुई हैं। ।।
“”” अगर 10 दिन बाद भी व्यवस्था नही सुधरा तो वार्ड वासी एवं भाजपाई करेंगे नगर के बीच सड़क पर चक्का जाम “”””
नगर पंचायत कर्मचारियों पर लगा शराबखोरी का आरोप
विभिन्न वार्डो से पहुँची महिलाओं ने अनुविभागीय अधिकारी ,तहसीलदार एवं cmo के सामने अपनी समस्या रखते हुए कहा कि जब यहाँ के कर्मचारी टैंकर लेकर जाते हैं तो वो शराब का सेवन किये रहते हैं। शराब के नशे में धुत रहते हैं एवं कुछ भी अनर्गल बाते करते हैं। साथ ही शिकायत में कहा कि नगर पंचायत में हर छोटे काम के लिए घुमाया जाता है। यहाँ के कर्मचारियों का व्यवहार भी ठीक नही रहता। साथ ही करियाटोला वार्ड में शराब दुकान के आस पास के खेत वाले डिस्पोजल एवं पानी पाउच जैसे गंदगी से परेशान हैं। सरकार चखना दुकान का परमिशन दे या न दे लेकिन स्थानीय नेता और अधिकारी इसका परमिशन जरूर देकर रखी है तभी शराब दुकान के आस पास बड़ी मात्रा में चखना दुकान संचालित हो रहा है। साथ ही शराब पीने वाले लोग शराब की शीशी खेत मे फोड़ देते हैं एवं पानी पाउच डिस्पोजल भी वही फेंक देते हैं।
प्रधानमंत्री आवास योजना में लगा रिश्वत लेने का आरोप
आंदोलन में शामिल महिलाओ में से कुछ ने नगर पंचायत के कर्मचारियों पर प्रधानमंत्री आवास के क़िस्त निकालने के बदले जमकर रिश्वत की मांग करते हैं साथ ही jio टेक करने के लिए भी 1000 रु की मांग होती है जो अधिकारियों के मिली भगत से संभव है। अधिकारी इनको बोलकर भेजते हैं कि खर्चा पानी देख लेना करके। गरीबो के साथ इस प्रकार की अन्याय हो रहा है लेकिन स्थानीय विधायक द्वारा इस मामले को अनदेखा कर दिया जा रहा है। एक वर्ष पूर्व भाजपा ने इसकी शिकायत नगर पंचायत में की थी किंतु अभी तक संबंधित कर्मचारी के ऊपर कोई कार्यवाही नही हुई है । कार्यवाही हो भी क्यों ,,??? सब कुछ तो अधिकारी के संरक्षण में चल रहा है।
अनुविभागीय अधिकारी ने क्या कहा- अनुविभागीय अधिकारी सुनील नायक ने कहा कि हमे नगर वासियों का लिखित शिकायत मिला है जो गंभीर विषय है। इस पर कल से ही पेयजल की समस्या के लिए नगर पंचायत द्वारा कार्यवाही की जाएगी। पूर्व में cmo को आवश्यक कार्यवाही के निर्देश दिए थे लेकिन कुछ भी कार्यवाही नही हुई हैं।
दिनेश गांधी ने क्या कहा –
नगर पंचायत के उदासीन रवैया को लेकर भाजपा नेता दिनेश गांधी ने कहा कि ये सरकार भ्रष्ट हो गयी है। इनके संरक्षण में ही नगर पंचायत के अधिकारी खुल कर भ्रष्टाचार कर रहे हैं। इस सरकार में कर्मचारी एवं अधिकारी बेलगाम हो गए हैं। वही नगर पंचायत के अधिकारी कर्मचारी को जनताओ के समस्याओं से कोई मतलब नही है। अध्यक्ष एवं अधिकारी अपने मे मस्त है ,उनको सत्ता का नशा हो गया हैं। और ज्यादा नशा ठीक नही है। नगर पंचायत में इन दिनों जमकर भ्र्ष्टाचार हो रहा है। स्थानीय विधायक का हाथ नगर पंचायत के अधिकारी और अध्यक्ष पर जमकर रखा हुआ है।
रामकुमार गुप्ता ने कहा- वही भाजपा नेता रामकुमार गुप्ता ने नगर पंचायत के आवास विभाग को जमकर लताड़ा। रामकुमार गुप्ता ने नगर में बन रहे प्रधानमंत्री आवास को लेकर कहा कि लोगो के आवास का क़िस्त 2 साल से नही आया है क्योंकि उन्होंने कमीशन नही दिया है। अगर कमीशन दिया होता तो 1 माह में किस्त आ जाता। वही इनके कर्मचारी फोटो खींचने के बदले 1000 से 3 हजार तक की मांग करते हैं। जो कि एक गंभीर मुद्दा है किंतु इसके बावजूद भी दोषी कर्मचारियों पर किसी प्रकार की कोई कार्यवाही नही हुई है।
कुल मिलाकर नगर पंचायत के विषय मे अंधेर नगरी चौपट राजा वाली कहावत सही साबित हो रही है।