पंडरिया-नगर सहित ब्लाक के ग्रामीण अंचलों में बरसात नहीं होने के चलते किसानों को अब चिंता सताने लगी है।आधा सावन बीत गया लेकिन अब तक बुआई का कार्य पूरा नहीं हो पाया है। सावन में केवल बादल छाए रहते है, लेकिन बरसात नहीं हो रही है।बरसात नहीं होने के कारण ब्लाक में इस वर्ष अल्प वर्षा की स्थिति बन रही है।आषाढ़ व सावन के महिने में नगर सहित क्षेत्र में केवल दो-चार दिन ही अच्छी बरसात हुई है।जिसके बाद तेज धूप व कभी-कभी बादल दिखाई पड़ते हैं। बरसात नहीं होने के कारण अकाल की आहट दिखाई पड़ रही है। वहीं देश का उत्तरी भाग अतिवृष्टि के कारण समस्याओं से जूझ रहा है।क्षेत्र में पानी नहीं गिरने के कारण किसान धान का बुआई कार्य पिछड़ रहा है।


जिन किसानों ने शुरुआत में धान का रोपा लगाए थे,इनमें भी पीलापन दिखाई पड़ रहा है तथा पौधे सूखने लगे हैं।मौसम के रुख से किसान चिंतित नजर आ रहे हैं।इस वर्ष दो सावन होने से अच्छी बारिश की उम्मीद की जा रही थी,लेकिन एक सावन तो सूखा बीतने वाला है। सावन में वर्षा नहीं होने व तेज धूप के चलते अच्छी बारिश की उम्मीद टूटते दिख रही है।सावन के महिने में सावन की झड़ी तो दूर सामान्य बौछार भी दूर -दूर तक नहीं दिख रही है। यदि मौसम कुछ दिनों तक इसी प्रकार बना रहा या बरसात नहीं होती है तो क्षेत्र मे सूखे की स्थिति से अकाल पड़ने की संभावना दिखाई पड़ रही है। कृषक सालिक यादव ने बताया ने बताया कि खेतों में धान का रोपा लगाये थे,जो बरसात नहीं होने के कारण सुखने लगे हैं।कुछ दिनों के भीतर अच्छी बरसात नहीं होगी तो फसल पूरी तरह खराब हो जाएंगे।उन्होंने बताया कि वर्तमान में बरसात की स्थिति को देखते हुए क्षेत्र में अकाल की संभावना दिखाई पड़ रही है।
सिंचाई के साधन नहीं- ब्लाक अंतर्गत सिचाई के लिए एक भी बड़ी परियोजना नहीं है, जिससे अल्प वर्षा के दौरान अकाल की स्थिति को दूर करने के लिए फसलों की सिंचाई किया जा सके। क्षेत्र में क्रांति जलाशय, घोघरा डायवर्सन,किलकिला डायवर्सन, दुल्लापुर डायवर्सन बना हुआ है किंतु इन डायवर्सन से जरूरत के समय फसल की सिंचाई नहीं होती है,अतिवृष्टि होने पर ही इन स्टाप डेम से पानी खेतों तक पहुंचता है,जो फसलों को केवल नुकसान पहुंचता है।क्षेत्र में अकाल से निपटने के लिए एक बड़ी परियोजना की आवश्यकता है।लेकिन कोई भी सरकार इस ओर ध्यान नहीं दे रहा है।
बिजली ट्रिपिंग व लो-वोल्टेज बनी समस्या– क्षेत्र में बड़ी सिंचाई परियोजना नहीं होने से ब्लाक के कृषक सिंचाई के लिए पूर्ण रुप से ट्यूबवेल पर आश्रित है, किंतु लगातार बिजली ट्रिपिंग होने तथा लो वोल्टेज के कारण ट्यूबवेल भी नहीं चल पा रहे हैं।विगत दिनों भाजपा द्वारा बिजली व्यस्था में सुधार के लिए अल्टीमेटम दिया गया है,इसके बावजूद बिजली व्यवस्था नहीं सुधर पा रही है। वर्षा नहीं होने के कारण बिजली की खपत बढ़ गई है जिससे ओवर लोडिंग के कारण नगर व ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली बाधित हो रही है।साथ ही हमेशा लो वोल्टेज की स्थिति बनीं हुई है।कृषक राजेश कुमार ने बताया कि लगातार बिजली ट्रिपिंग हो रही है तथा बिजली लोवोल्टेज की स्थिति लगातार बनी रहती है,जिसके कारण पम्प नहीं चल पा रहे हैं।उन्होंने बताया कि बिजली ट्रिपिंग होने के कारण सिंचाई नहीं हो पा रही है। शीघ्र ही अच्छी बरसात नहीं होने व पूरी बिजली नहीं मिलने पर पूरा कृषि कार्य प्रभावित हो जाएगा।
“बरसात कम होने के कारण बुआई का कार्य पिछड़ गया है।अभी फसल नुकसान होने की स्थिति में नहीं हैं,यदि सप्ताह भर बाद भी बरसात नहीं होगी तो धान के पौधों रोग लगने की संभावना होगी।”
तरुण दुबे,प्रभारी वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी पंडरिया।