भिलाई । गणेश चतुर्थी पर्व के दौरान माइलस्टोन अकेडमी (milestone academy ) के बच्चों को हुडको पंडाल का भ्रमण कराया गया। माइलस्टोन अकेडमी की डायरेक्टर डॉ ममता शुक्ला व प्रिंसिपल हेमा गुप्ता के मार्गदर्शन में बच्चों को महाराष्ट्र मंडल हुडको के गणेश पंडाल ले जाया गया। इस दौरान बच्चों ने गणपति की ढेर सारी मूर्तियां विभिन्न मुद्राओं में देखीं। इस दौरान बच्चों को टीचर्स ने पूजा व आरती की विधि भी बताई।
बता दें अपने इनोवेटिव कार्यक्रमों के जरिए माइलस्टोन अकेडमी में बच्चों को ज्ञान की बातें बताई जाती हैं। इसी कड़ी में बच्चों को कल्चर से जोड़ने गणेश पंडाल का भ्रमण कराया गया। हुडको गणेश पंडाल में गणेश जी विभिन्न मुद्राओं में विराजमान है। बच्चों ने भ्रमण के दौरान भरपूर एंजॉय किया। कुछ बच्चे अपने घर से फूल भी लाए थे और गणेश जी को अर्पित किए। इस दौरान पूरा पंडाल भगवान गणेश के जयकारों से गूंज उठा।
माइलस्टोन की डायरेक्टर डॉ. ममता शुक्ला का कहना है कि माइलस्टोन में गणेश चतुर्थी के दिन भी सभी बच्चों ने अपने नन्हे हाथों से बनाए हुए गणेश जी की पूजा की थी। स्कूल में प्रत्येक त्योहार के बारे में बच्चों को समझाया जाता है। इस प्रकार के कार्यक्रम से बच्चों को बहुत ज्यादा सीखने को मिलता है। बच्चों को यह जानने की जिज्ञासा और बढ़ती है कि अब क्या होने वाला है।
बच्चों को बताया क्या होता है रिक्शा
माइलस्टोन अकेडमी में नन्हे बच्चों को रिक्शा राइड कराई गई। वर्तमान में बच्चों को साइकिल की तरह चलने वाले रिक्शा के बारे में जानकारी नहीं है। इसके देखते हुए बच्चों को न सिर्फ रिक्शा के बारे में बताया गया बल्कि उसकी राइडिंग भी कराई गई। यह स्पेशल एक्टिविटी PG-I के बच्चों के लिए थी। पहले तो बच्चे रिक्शे में बैठने से डर रहे थे लेकिन टीचर्स ने उन्हों हिम्मत दी और उनका डर गायब हो गया। रिक्शा राइडिंग के दौरान बच्चे काफी एक्साइटेड दिखे और खुशी से शोर मचाते रहे।
स्टोरी टेलिंग सेशन में बच्चों को बताई कहानी
माइलस्टोन एकेडमी में एक स्टोरी टेलिंग सेशन भी हुआ। डायरेक्टर डॉ. ममता शुक्ला ने वर्चुअल माध्यम से एक बंदर और एक गिलहरी की कहानी सुनाई। कैसे पेड़ कि टहनी पर बंदर सो रहा होता है। उसकी लंबी सी पूंछ नीचे लटकी रहती है। फिर एक छोटी सी गिलहरी खुश होकर उसकी पूंछ से लटक कर झूला झूलती है। बंदर सोने में इतना मगन रहता है कि वो इस सब घटनाक्रम को महसूस करके भी ध्यान नहीं देता।
इस कहानी के माध्यम से बच्चों को Big-Small के बारे बताया गया। ये बताया गया कि हमे अपने आस पास क्या हो रहा है इन सब बातों को लेकर सावधान रहना चाहिए। ड्रॉइंग पेंटिंग उसके बाद बच्चों ने चार्ट पेपर ब्रश की सहायता से कई रंगों से पेंटिंग की। इस दौरान बच्चों ने बॉल को अप-डाउन करके गेम खेला। इसके बाद सभी बच्चों ने डांस किया।