लिहाटोला में मूलभूत सुविधाएं नहीं, गांव जाने रास्ता नहीं,3 किलोमीटर पैदल चलकर जाते हैं ग्रामीण…पेयजल की व्यवस्था नहीं


पंडरिया । ब्लाक अंतर्गत ग्राम पंचायत छिंडीडीह के आश्रित ग्राम लिहाटोला मैकल पर्वत के तराई पर घने जंगलों के बीच स्थित है,जहां लोगों को जाने के लिए कोई रास्ता नहीं है।यहां के ग्रामीणों को पथरीले रास्तों से पैदल चलकर गांव तक पहुंचना पड़ता है।लिहाटोला सेंदुरखार मुख्यमार्ग से तीन किलोमीटर भीतर स्थित है।यहां की जनसंख्या करीब 250 है।

बैगा-आदिवासी क्षेत्रों में 100 से अधिक आबादी वाले गांवों में जनमन योजनान्तर्गत प्रधानमंत्री सड़क निर्माण किये जा रहे हैं।किन्तु लिहाटोला में 250 जनसंख्या होने के बाद यहां सड़क नहीं है।बरसात के समय यहां पैदल जाना भी मुमकिन नहीं होता है वहीं शेष मौसम में पैदल जाना पड़ता है।लोगों को उपचार कराने तथा अन्य कार्य के लिए कुकदूर व ब्लाक मुख्यालय आने में भारी परेशानी बीती है।ग्रामीण जुग्गु सिंह व तारासिंह ने बताया कि सड़क नहीं होने से गांव के बच्चे मिडिल व हाई स्कूल की पढ़ाई नहीं कर पाते हैं।साथ ही 3 किलोमीटर पैदल चलने के कारण ग्रामीणों को कुकदूर य्या पंडरिया में काम होने पर पहुंचना मुश्किल होता है।उन्होंने जल्द ही गांव में सड़क निर्माण की मांग की है।


पेयजल की सुविधा नहीं– गांव में शुद्ध पेयजल की कोई व्यवस्था नहीं है।एक हेण्डपम्प है,जिसमें पानी नहीं आता है।लोग झिरिया का पानी पीने के लिए उपयोग करते हैं।झिमलु व झिरु बैगा ने बताया कि शुद्ध पेयजल नहीं है,ग्रामीण झिरिया का पानी पीते हैं।साथ ही सड़क नहीं होने के कारण इलाज के लिए जाने में परेशानी होती है।जिसके चलते लोगों को अपनी जान गवानी पड़ जाती है।
“जानकारी ली जाएगी,जिसके पश्चात आगामी योजना में शामिल कर सड़क निर्माण किया जाएगा।
संतोष ठाकुर,कार्यपालन अभियंता,पीएमजीएसवाई