रिपोर्टर, चंद्रभान यादव
जशपुर। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा गोठानों को स्वावलंबी बनाने के लिए लगातार प्रयास किया जा रहा है। इसके साथ ही स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को भी प्रशिक्षण देकर रोजगार से जोड़ा जा रहा है। पत्थलगांव विकासखंड के बहनाटांगर गौठान में 11 सदस्यीय समूह के माध्यम से 6000 पोल निर्माण किया गया। अन्य गोठानों के साथ ही प्राइवेट व्यक्तियों को इसकी बिक्री की गई। इससे समूह के सदस्यों को रोजगार मिलने के साथ ही 4 लाख 20 हजार रुपए की आमदनी हुई है।
इसी तरह पूजा स्वयं सहायता समूह के माध्यम से सरसों तेल पिराई चक्रिय निधि व सामुदायिक निवेष निधि के सहयोग से कि जा रही है। तेल की शुद्वता के कारण स्थानीय लोगों मे इसकी काफी मांग है। इससे समूह की आजीविका गतिविधि मे रुचि बढ़ रही है।
महिला शक्ति स्वयं सहायता समूह के माध्यम से बाड़ी विकास का काम किया जा रहा है। वर्तमान मे समूह द्वारा वर्मी खाद, बोरा िप्रंटिंग का काम किया जा रहा है। इससे महिलाओं की आर्थिक स्थिित मे सुधार हो रही है और वे इसमें बढ़-चढ़कर हिस्सा ले रहीं हैं। गोठानों में मुर्गी पालन, बकरी पालन, मशरूम उत्पादन, बांस की टोकरी निर्माण, बटेर पालन, बाड़ी विकास, साग-सब्जी उत्पादन, राइस मिल, पोल निर्माण, सरसो तेल, हेचरी पालन संचालन सहित अन्य गतिविधियों में शामिल करके समूह की महिलाओं को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है।
आय अर्जित कर रहीं समूह की महिलाएं जिपं के एनआरएलएम बिहान द्वारा भी स्वयं सहायता समूह के महिलाओं को सशक्त बनाने के उद्देश्य से आर्थिक गतिविधियों में जोड़ने का कार्य निरंतर किया जा रहा है। ताकि महिलाएं आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बन सकें। जिले के विभिन्न विभागों द्वारा भी रीपा के तहत परिवारों व समूह की महिलाओं को विभाग की योजना से लाभान्वित कर अतिरिक्त आमदनी अर्जित करने के लिए उन्हें प्रोत्साहित किया जा रहा है। इसी कड़ी में पत्थलगांव विखं के बहनाटांगर गौठान में पुष्कर सरस्वती महिला समूह, पूजा समूह, महिला शक्ति समूह और जय माता स्वयं सहायता समूह द्वारा पोल निर्माण, सरसो तेल उत्पादन, सामुदायिक बाड़ी विकास कार्य किया जा रहा है।